कुर्बानी में सावधानी, शांति बनाए रखें। बकरा ईद से पहले मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी की अपील

बरेली। बकरा ईद (7 से 9 जून) से पहले ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने मुसलमानों से कुर्बानी के दौरान विशेष सतर्कता बरतने की अपील की है। उन्होंने कहा कि कुर्बानी खुदा की रजा के लिए की जाती है, न कि दिखावे या विवाद के लिए।
प्रेस को जारी बयान में मौलाना ने कहा कि यह अमल पैगंबर इब्राहीम और उनके बेटे इस्माइल की याद में अदा किया जाता है, इसलिए इसमें शरियत और समाज दोनों का लिहाज जरूरी है। उन्होंने कहा कि कुर्बानी एक धार्मिक कर्तव्य है, जिसे पूरे सम्मान और जिम्मेदारी के साथ अंजाम दिया जाना चाहिए।
ये बरतें सावधानियां: मौलाना की हिदायतें
कुर्बानी सड़कों, गलियों या सार्वजनिक स्थानों पर न करें।कोशिश करें कि जानवरों को घरों या चारों तरफ से ढकी जगहों में ही जिब्ह करें।
जानवरों को रास्तों पर न बांधें, पारंपरिक और निश्चित स्थानों पर ही कुर्बानी दें।
खून नालियों में न बहाएं, बल्कि गड्ढा खोदकर दफन करें। अवशेषों को खुले में न फेंकें, उन्हें थैली में बंद कर सुरक्षित नष्ट करें या दफनाएं।सोशल मीडिया पर वीडियो या तस्वीरें शेयर न करें, इससे भावनाएं आहत हो सकती हैं।
नई परंपराएं शुरू करने से बचें, शरियत और अमन को प्राथमिकता दें।
मौलाना रजवी ने प्रशासन से कहा कि बकरा ईद से पहले और दौरान, उन असामाजिक तत्वों पर खास नजर रखी जाए जो माहौल बिगाड़ सकते हैं।उन्होंने आग्रह किया कि जानवरों के परिवहन के समय पुलिस सतर्कता बरते, ताकि कोई झगड़ा या विवाद न हो।
मौलाना ने मुस्लिम समुदाय से सरकारी गाइडलाइंस का पालन करने और अन्य धर्मों की भावनाओं का भी सम्मान करने की बात कही।
“कुर्बानी खुदा की रज़ा के लिए है, दिखावे या विवाद के लिए नहीं। अमन, भाईचारा और साफ-सफाई बनाए रखना हर मुसलमान की जिम्मेदारी है।”
मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी, राष्ट्रीय अध्यक्ष, ऑल इंडिया मुस्लिम जमात





