बांग्लादेशी महिलाओं का पर्दाफाश: फर्जी पासपोर्ट-आईडी बनवाकर वर्षों से रह रही थीं बरेली में
प्रेमनगर पुलिस की बड़ी कार्रवाई, तीनों गिरफ्तार, पासपोर्ट-आधार-पैन समेत कई दस्तावेज बरामद

बरेली। थाना प्रेमनगर पुलिस ने शुक्रवार को एक बड़ी कार्रवाई करते हुए बांग्लादेशी मूल की तीन शातिर महिलाओं को गिरफ्तार किया है, जो फर्जी भारतीय पहचान पत्रों के सहारे वर्षों से भारत में रह रही थीं। महिलाएं अलग-अलग नाम, माता-पिता और जन्मतिथि दर्शाकर भारतीय पासपोर्ट, आधार, पैन और वोटर आईडी तक बनवा चुकी थीं। पुलिस ने इनके कब्जे से मूल पासपोर्ट, पैन कार्ड, बोर्डिंग पास, विदेशी होटलों के विजिटिंग कार्ड और कई कूटरचित दस्तावेज बरामद किए हैं।
ऐसे हुआ खुलासा
21 अगस्त को उ0नि0 वीरेश भारद्वाज की तहरीर पर थाना प्रेमनगर में मुकदमा दर्ज किया गया था कि मुनारा बी, सायरा बानो और तसलीमा मिलकर षड्यंत्रपूर्वक फर्जी भारतीय पहचान पत्र बनवा रही हैं और बांग्लादेशी नागरिकता छिपाकर भारत में रह रही हैं। मामले में मुकदमा संख्या 322/2025 धारा 419, 420, 467, 468, 471 भादवि, पासपोर्ट अधिनियम, विदेशी अधिनियम और आधार अधिनियम की धाराओं में दर्ज हुआ।
गिरफ्तारी की कहानी
मुखबिर की सूचना पर थाना प्रभारी आशुतोष रघुवंशी मय टीम मो. बानखाना पहुंचे और वहां से मुनारा बी (65 वर्ष) को दबोच लिया। तलाशी में उसके पास से कई फर्जी दस्तावेज मिले।
उसकी निशानदेही पर पुलिस ने सायरा बानो (48 वर्ष) और तसलीमा (45 वर्ष) को सतीपुर चौराहे से गिरफ्तार कर लिया।
पूछताछ में सनसनीखेज खुलासा
मुनारा बी ने कबूल किया कि वह बचपन में ही बांग्लादेश से भारत आ गई थी और शादी के बाद से यहीं रह रही है। उसने अपने व सायरा बानो के नाम से कई पासपोर्ट बनवाए और बीते 12 वर्षों में बांग्लादेश व दुबई सहित कई देशों की यात्राएं कीं।
सायरा बानो और तसलीमा ने भी माना कि उन्होंने मुनारा बी की विदेश यात्राओं के लिए फर्जी पासपोर्ट बनवाने में मदद की।